नेपाल पर युवाओं का बवाल, पुलिस फायरिंग में 15 की मौत, 42 घायल
- राष्ट्रीय विदेश
Political Trust
- September 8, 2025
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काठमांडू। भ्रष्टाचार और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर प्रतिबंध लगाने के सरकार के फैसले के खिलाफ नेपाल में युवाओं ने काठमांडू की सड़कों पर जमकर प्रदर्शन किया। जेनरेशन जेड पीढ़ी के युवाओं ने सड़कों पर सरकार के फैसले के खिलाफ आवाज बुलंद की। प्रदर्शन के दौरान लोग काफी उग्र हो गए। देखते ही देखते हालात इतने बिगड़ गए कि पुलिस को हल्का लाठीचार्ज करना पड़ा। भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले भी दागे।
नेपाल में सरकार के भ्रष्टाचार और हाल ही में सोशल मीडिया पर प्रतिबंध के खिलाफ प्रदर्शन तेज हो गए हैं। जेनेरेशन जेड (Gen Z) ने सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन किया। युवाओं ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। कई प्रदर्शनकारी संसद भवन में भी घुस गए। सुरक्षा बलों की ओर से जब उन्हें रोकने की कोशिश की गई, तब वे और बेकाबू हो गए और बैरिकेड कूदकर इधर-उधर भागने लगे। इस दौरान सुरक्षा बलों पर पथराव भी किया गया। पुलिस ने हालात पर काबू पाने के लिए हल्का लाठी चार्ज किया। आंसू गैस के गोले छोड़े। पानी की बौछार की और कुछ जगहों पर फायरिंग भी की। स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, विरोध प्रदर्शन के दौरान हुई हिंसा में 15 लोगों की मौत हो गई और 42 लोग घायल हो गए। काठमांडू के न्यू बानेश्वर और झापा जिले के दमक में सबसे ज्यादा हालात खराब हैं।
नेपाल मीडिया के अनुसार, न्यू बानेश्वर में हिंसक झड़पों के दौरान गोली लगने से घायल हुए प्रदर्शनकारी ने सिविल अस्पताल में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। इस समय कई घायल व्यक्तियों की पहचान अब भी ज्ञात नहीं है। दमक में प्रदर्शनकारियों ने दमक चौक से नगरपालिका कार्यालय की ओर मार्च किया, जहां उन्होंने नेपाली प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली का पुतला फूंका और कार्यालय के द्वार तोड़ने का प्रयास किया। हालात और न बिगड़ें, इसके लिए सेना को मोर्चे पर उतार दिया गया है।
गोलीबारी में कुछ लोग घायल
न्यू बानेश्वर में प्रदर्शन के दौरान पुलिस की गोलीबारी में कुछ प्रदर्शनकारी घायल भी हुए हैं। घायलों को इलाज के लिए एवरेस्ट अस्पताल, सिविल अस्पताल और आसपास के अन्य अस्पतालों में ले जाया गया है। कार्यकर्ता रोनेश प्रधान ने बताया कि हामी नेपाल संगठन ने प्रदर्शनकारियों को प्राथमिक उपचार प्रदान करने के लिए मैतीघर में एक प्राथमिक चिकित्सा शिविर स्थापित किया है। प्रधान ने कहा, ‘मैतीघर में छह से सात लोगों का इलाज चल रहा है, जबकि ज्यादातर घायल एवरेस्ट अस्पताल में हैं।’हालांकि, घायलों की सटीक संख्या की पुष्टि अब तक नहीं हुई है।
नेपाल मीडिया के अनुसार, न्यू बानेश्वर में हिंसक झड़पों के दौरान गोली लगने से घायल हुए प्रदर्शनकारी ने सिविल अस्पताल में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। इस समय कई घायल व्यक्तियों की पहचान अब भी ज्ञात नहीं है। दमक में प्रदर्शनकारियों ने दमक चौक से नगरपालिका कार्यालय की ओर मार्च किया, जहां उन्होंने नेपाली प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली का पुतला फूंका और कार्यालय के द्वार तोड़ने का प्रयास किया। हालात और न बिगड़ें, इसके लिए सेना को मोर्चे पर उतार दिया गया है।
गोलीबारी में कुछ लोग घायल
न्यू बानेश्वर में प्रदर्शन के दौरान पुलिस की गोलीबारी में कुछ प्रदर्शनकारी घायल भी हुए हैं। घायलों को इलाज के लिए एवरेस्ट अस्पताल, सिविल अस्पताल और आसपास के अन्य अस्पतालों में ले जाया गया है। कार्यकर्ता रोनेश प्रधान ने बताया कि हामी नेपाल संगठन ने प्रदर्शनकारियों को प्राथमिक उपचार प्रदान करने के लिए मैतीघर में एक प्राथमिक चिकित्सा शिविर स्थापित किया है। प्रधान ने कहा, ‘मैतीघर में छह से सात लोगों का इलाज चल रहा है, जबकि ज्यादातर घायल एवरेस्ट अस्पताल में हैं।’हालांकि, घायलों की सटीक संख्या की पुष्टि अब तक नहीं हुई है।