भारत ने अक्तूबर में रूस से तेल खरीद पर खर्च किए ढाई अरब, यूरोपीय थिंक टैंक का दावा
नई दिल्ली। एक यूरोपीय थिंक टैंक ने दावा किया है कि अक्तूबर में भारत ने रूस से तेल खरीद पर 2.5 अरब यूरो खर्च किए हैं। भारत रूसी तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है। इससे पहले सितंबर में भारत ने रूस से तेल खरीद पर ढाई अरब यूरो ही खर्च किए थे। साफ है कि अमेरिकी दबाव के बावजूद भारत ने रूस से तेल खरीद बंद नहीं की है। हालांकि अब नए प्रतिबंधों के बाद इसमें बदलाव दिख सकता है।
पश्चिमी प्रतिबंधों और यूरोपीय मांग में कमी के कारण रूस की सरकार ने अपने तेल की कीमतों में भारी छूट दी, जिसके बाद भारत ने छूट का फायदा उठाते हुए रूस से भारी मात्रा में तेल खरीदा।
भारत, रूस का दूसरा सबसे बड़ा तेल खरीददार
यूरोपीय थिंकटैंक सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनर्जी एंड क्लीन एयर (सीआरईए) के अनुसार, अक्तूबर में भारत, चीन के बाद रूसी जीवाश्म ईंधन का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार बना रहा। हालांकि 22 अक्टूबर को, अमेरिका ने यूक्रेन युद्ध के वित्तपोषण को रोकने के लिए रूस की दो सबसे बड़ी तेल उत्पादक कंपनियों रोसनेफ्ट और लुकोइल पर प्रतिबंध लगा दिए हैं। इन प्रतिबंधों के चलते रिलायंस इ
